दुबई से खाली हाथ क्यों आईं स्पाइसजेट की फ्लाइट? इस वजह से चेक-इन नहीं कर पाए यात्री

दुबई से खाली हाथ क्यों आईं स्पाइसजेट की फ्लाइट? इस वजह से चेक-इन नहीं कर पाए यात्री


स्पाइसजेट एयरलाइन की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। एयरलाइन को दुबई से बिना यात्रियों के फ्लाइट वापस भारत लानी पड़ीं। दरअसल एयरपोर्ट अथॉरिटी को बकाया भुगतान न किए जाने के कारण यात्रियों को चेक-इन की अनुमति नहीं दी गई थी। इस कारण फ्लाइट बिना यात्रियों के ही लौट आईं। स्पाइसजेट की परेशानियों की लंबी लिस्ट में यह ताजा मामला है। एयरलाइन ने पिछले साल कई राउंड फंड जुटाया था लेकिन इसके बावजूद ऑपरेशन को पूरी तरह से बहाल करने के लिए संघर्ष करना पड़ा। एयरलाइन लंबे समय से वित्तीय संकट से जूझ रही है और इसे कई बार उड़ानें रद्द करनी पड़ी हैं या फिर उड़ानों में देरी का सामना करना पड़ा है।

इसी महीने 2 अगस्त को एयरपोर्ट अथॉरिटी को बकाया भुगतान न किए जाने के कारण उड़ानें रद्द होने से स्पाइसजेट के सैकड़ों यात्री दुबई हवाई अड्डे पर फंस गए थे। स्पाइसजेट के प्रवक्ता ने कहा था कि परिचालन संबंधी कारणों से दुबई से भारत आने वाली कुछ उड़ानें रद्द कर दी गईं, लेकिन उन्होंने विस्तृत जानकारी नहीं दी थी। मामले से जुड़े एक सूत्र ने बताया कि दुबई से भारत के विभिन्न शहरों के लिए संचालित होने वाली स्पाइसजेट की करीब 10 उड़ानें बकाया भुगतान न होने के कारण रद्द कर दी गईं थीं। सूत्र ने बताया कि दुबई में सैकड़ों यात्री फंस गए।

द हिंदू की रिपोर्ट के अनुसार ताजा मामले को देखते हुए भारत के नागरिक उड्डयन मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि वे “स्पाइसजेट पर नजर रख रहे हैं।” इस बीच स्पाइसजेट के प्रवक्ता ने कहा कि कैंसिलेशन “परिचालन संबंधी मुद्दों के कारण” किया गया था और प्रभावित यात्रियों को स्पाइसजेट की अगली फ्लाइट्स या अन्य एयरलाइनों में बिठाया गया उन्हें पूरा रिफंड प्रदान किया गया। प्रवक्ता ने कहा कि व्यवधान के बाद, दुबई से सभी निर्धारित उड़ानें अब योजना के अनुसार संचालित हो रही हैं।

14 अगस्त को दिल्ली उच्च न्यायालय ने एयरलाइन स्पाइसजेट को अपने तीन इंजन का इस्तेमाल रोक देने तथा 15 दिन के भीतर उन्हें पट्टादाताओं को सौंपने का निर्देश दिया था। उच्च न्यायालय ने एयरलाइन को निर्देश दिया कि वह सात दिन के भीतर दिल्ली हवाई अड्डे पर अपने अधिकृत प्रतिनिधियों के माध्यम से पट्टादाताओं, टीम फ्रांस 01 एसएएस और सनबर्ड फ्रांस 02 एसएएस को इंजनों का पूर्व निरीक्षण करने की पेशकश करे।

न्यायमूर्ति मनमीत प्रीतम सिंह अरोड़ा ने आदेश में कहा, ‘‘इस अदालत के पास प्रतिवादी (स्पाइसजेट) को यह निर्देश देने के अलावा कोई विकल्प नहीं है कि वह तीन इंजनों को 16 अगस्त, 2024 के प्रभाव से खड़ा करे। प्रतिवादी यह सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाएगा कि आज से 15 दिन के भीतर वादी को इंजन की पुन: आपूर्ति की जाएगी।’’